उत्तर कोरिया के नेता किम जोंग उन ने दक्षिण कोरिया के खिलाफ मिलिट्री एक्शन पर रोक लगा दी है। इसके कुछ घंटों बाद ही उ.कोरिया की वेबसाइटों से 12 से ज्यादा द.कोरिया के विरोध में लिखे आर्टिकल हटा दिए गए। सेंट्रल मिलिट्री कमीशन की मीटिंग में किम जोंग उन ने घोषणा की कि वह अपनी सेना पर रोक जारी रखेगा।

उ. कोरिया से भागकर गए लोग सरकार विरोधी पर्चे भेजते हैं

उ.कोरिया से भाग कर गए लोगों का समूह किम जोंग उन समेत वहां के सरकार की आलोचना वाले पर्चे गुब्बारों के जरिए यहां भेजता है। इन गुब्बारों को ज्यादा से ज्यादा लोग उठाएं इसलिए इनमें भोजन और कई चीजें भी होती हैं। इसका मकसद उत्तर कोरिया के लोगों में सत्ता के खिलाफ विद्रोह की भावना जगानाहै। इन गुब्बारों के साथ भेजे जाने वाले पर्चे और भोजन के कारण दोनों देशों के बीच तनाव काफी बढ़ गया है।

द. कोरिया की सरकारी न्यूज एजेंसी योनहाप के मुताबिक, डीपीआरके टुडे और मेयर जैसे उत्तर कोरियाई सरकार केसमर्थक न्यूज आउटलेट की वेबसाइटों से आर्टिकल और ओपिनियन हटा लिए गए हैं। उ.कोरिया से द.कोरिया गए समूह ने इस महीने की शुरुआत में डिमैटेरियलाइज्ड जोन (डीएमजेड) में उ.कोरिया विरोधी मैसेज साथ गुब्बारे उड़ाए थे।

उ.कोरिया ने 16 जून को संपर्क कार्यालय उड़ा दिया

इसके बाद से दोनों देशों के बीच विवाद बढ़ गया था। उ.कोरिया ने दोनों देशों के बॉर्डर के पास सैनिक तैनात करने की धमकी दी थी। उ.कोरिया ने द. कोरिया से जुड़ी हॉटलाइन समेत सभी कम्युनिकेशन लाइनें बंद कर दी थी। साथ ही 16 जून को केयसोंग शहर स्थित ऑफिस को बम से उड़ा दिया था। यह ऑफिस दोनों देशों के बीच अच्छे रिश्ते बनाने के लिए 2018 में खोला गया था।

ये भी पढ़ें

किम जोंग की 33 साल की बहन यो दुनिया की पहली महिला तानाशाह बन सकती हैं, द. कोरिया की सीमा पर बने ऑफिस को इन्होंने ही उड़वाया

द. कोरिया के खिलाफपर्चे के जरिए बड़े पैमाने पर कार्रवाई की तैयारी, कुछ दिन पहले किम जोंग उन के विरोध में पर्चे भेजे गए थे



Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today
यह फोटो अप्रैल 2018 की है। किम जोंग उन 1953 के बाद से दक्षिण कोरियाई जाने वाले पहले उत्तर कोरियाई नेता थे। दक्षिण कोरिया के राष्ट्रपति मून जे-इन लंबे समय से विभाजित सैन्य रेखा पर किम का इंतजार कर रहे थे। दोनों नेताओं ने विभाजित रेखा पर एक-दूसरे से हाथ मिलाया।


https://ift.tt/37YgvFs from Dainik Bhaskar https://ift.tt/2VdBjUp